Connect with us

Featured

IAS नहीं बन सकी तो दे दी जान

Published

on

अकोला की बेटी अंजिल ने सुसाइड नोट में बताया दर्द

वेबडेस्क, महाराष्ट्र खबर 24. नई दिल्ली.आईएएस बनना हर युवा का सपना होता है. इसके लिए माता- पिता भी जी-जान से बच्चे की मदद करने में जुट जाते हैं. लेकिन परीक्षा में असफलता का डिप्रेशन किसी की जान भी ले सकता है , इसकी कल्पना भी नहीं की जा सकती. अकोला की अंजलि की मौत सबक है उन स्टूडेंटस के लिए जो प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहें हैं. ऐसे स्टूडेंटस से हम अपील करते हैं कि वे हिम्मत न हारें और आईएएस में सिलेक्शन न होने पर दूसरे विकल्प भी तलाशें और अपने माता-पिता की ओर भी देखें.महाराष्ट्र के अकोला शहर की रहने वाली अंजलि पिछले करीब चार सालों से दिल्ली के ओल्ड राजेंद्र नगर इलाके में पीजी में रहकर यूपीएससी की तैयारी कर रही थी. इसके परिवार में माता-पिता व अन्य सदस्य हैं. अंजलि के पिता महाराष्ट्र पुलिस में एएसआई हैं. हालांकि आत्महत्या की घटना ओल्ड राजेंद्र नगर में 21 जुलाई को हुई, लेकिन मामला अब मीडिया की जानकारी में आया. घटना के दिन सुबह के समय छात्रा अंजलि (25) ने अपने पीजी के रूम में पंखे से लटककर खुदकुशी कर ली थी. सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची. छानबीन के बाद उसका शव कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया. बाद में तमाम औपचारिकताएं पूरी करने के बाद शव परिवार के हवाले कर दिया गया.

आखिर क्यों की आत्महत्या

छानबीन के दौरान पुलिस को पता चला कि अंजलि यूपीएससी में अपने तीन प्रयास कर चुकी थी, लेकिन उसका चयन नहीं हो पाया था. इसके बाद से वह लगातार डिप्रेशन का शिकार थी. डॉक्टर से इलाज करवाने के बाद भी उसकी तबीयत में सुधार नहीं हो पा रहा था. अपने नोट में अंजलि ने इसका जिक्र किया है.अंजलि की दोस्त श्वेता ने पुलिस को बताया है कि 11 जुलाई को व्हाट्सएप पर हुई चैट में अंजलि ने पीजी की बढ़ती फीस का जिक्र किया था. दरअसल अंजलि को पांच अगस्त को हॉस्टल खाली करना था, लेकिन इससे पहले ही उसने मौत को गले लगा लिया. मौत के बाद उसने अंगदान करने की ख्वाहिश जाहिर की थी.

सुसाइड नोट में यह बातें लिखीं

अंग्रेजी में लिखे सुसाइड नोट में सबसे पहले अंजलि ने आत्महत्या करने के लिए अपने माता-पिता से माफी मांगी है. वह लिखती है कि हर संभव प्रयास के बाद भी उसे शांति नहीं मिल पा रही है. इसकी वजह से वह डिप्रेशन का शिकार हो गई है. डॉक्टर को दिखाने के बाद भी उसे आराम नहीं लग रहा है.अंजलि लिखती है कि उसका सपना था कि वह पहले प्रयास में यूपीएससी पास कर ले, लेकिन छात्रों पर बढ़ते दबाव और रोजमर्रा की दिक्कतों की वजह से वह ऐसा नहीं कर पाई. वह लिखती है कि आत्महत्या इसका कोई हल नहीं है, लेकिन इसके बाद भी वह मौत को गले लगा रही है.

यह लोग छात्रों को लूट रहे हैं

अपने नोट में उसने सरकारी नौकरियों में पारदार्शिता लाने और नौकरी पैदा करने की बात लिखी है. नोट में अंजलि पीजी और हॉस्टल की फीस बढ़ने और उस पर अंकुश लगाने की बात करती है. उसका कहना है कि यह लोग छात्रों को लूट रहे हैं, छात्र यह झेल नहीं पाते हैं. बढ़ती फीस की वजह से उसको भी हॉस्टल छोड़ना पड़ रहा है. अंत वह माता-पिता को लिखती है, उसके जाने के बाद वह दुखी नहीं होंगे और उसके मरने के बाद उसके अंग दान कर देंगे.

Featured

सियासी पारे में उतार-चढ़ाव….3.7% ज्यादा मतदान

Published

on

By

विधानसभा चुनाव : वोटरों में दिखा जमकर उत्साह

Web desk, maharshtrakhabar24.com,नागपुर.

प्रदेश में लोकतंत्र का उत्सव बुधवार को संपन्न हो गया. इस बार मतदाताओं में जमकर जोश दिखा. इसका असर वोटिंग के प्रतिशत पर भी साफ दिखाई दिया.राज्य में मतदान का आंकड़ा 65.1 फीसदी को पार कर गया . 2019 विधानसभा चुनाव में  61.4 प्रतिशत मतदान हुआ था. यानी 3.7% की बढ़ोत्तरी हुई. इतना ही नहीं इस बार महाराष्ट्र में पिछले 30 साल में सबसे ज्यादा वोटिंग हुई है. इससे पहले साल 1995 में राज्य में 71.69 प्रतिशत वोटिंग हुई थी. खास बात है कि वोटिंग में 2024 लोकसभा चुनाव का रिकॉर्ड भी टूटा है. उस दौरान राज्य में 61.39 प्रतिशत मतदान हुआ था.

यह है वजह

राज्य में भारी मतदान की वजह एमवीए और महायुति के तेज प्रचार को माना जा रहा है. लोकसभा चुनाव प्रचार के दौरान एक ओर जहां महायुति ने 42.1 फीसदी और महाविकास अघाड़ी ने 43.91 फीसदी वोट हासिल किए थे. सत्तारूढ़ गठबंधन महायुति में भाजपा, शिवसेना और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी हैं. जबकि, एमवीए में कांग्रेस, शिवसेना यूबीटी और एनसीपी एसपी है.

अपने-अपने दावे

 

महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस का कहना है, ‘जब भी मतदान में इजाफा होता है, तो भाजपा को राजनीतिक लाभ होता है. यह साबित हो चुका है कि पिछले चुनाव के मुकाबले विधानसभा चुनाव में मतदान प्रतिशत बढ़ा है. यह भाजपा और महायुति दोनों की मदद करेगा.’

वहीं, कांग्रेस चीफ नाना पटोले ने एमवीए की जीत का दावा किया है. उन्होंने कहा, ‘विधानसभा चुनावों में लोगों में खासा उत्साह था और महाराष्ट्र के स्वाभिमानी नागरिक उस सरकार को चुनेंगे, जो राज्य के कल्याण को प्राथमिकता देता है. जनता की प्रतिक्रिया के मद्देनजर कांग्रेस राज्य की सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरेगी. महाविकास अघाड़ी का सरकार बनाना तय है.

वोटर्स की संख्या में इजाफा

खास बात है कि राज्य में मतदाताओं की संख्या में भी खासा इजाफा हुआ है. 2019 में राज्य में वोटर 8.85 करोड़ थे, जो अब बढ़कर 9.69 करोड़ हो गए हैं. ऐसे में मतदाताओं की संख्या भी चुनाव के नतीजों में बड़ी भूमिका निभाती है.

 

Continue Reading

Featured

चुनाव में पहली बार मैदान में 357 महिला उम्मीदवार

Published

on

By

 किसी  महिला को CM-DCM का पद नहीं 

Web Desk, maharashtrakhabar24.com.

Nagpur, 12 nov.2024

महाराष्ट्र में 20 नवंबर को विधानसभा चुनाव के लिए मतदान होगा. 2019 तक प्रदेश में 13 बार विधानसभा चुनाव हुए हैं. इस बार का चुनाव कई मायनों में खास है. राज्य के इतिहास में पहली बार 357 महिला उम्मीदवार अपनी राजनीतिक किस्मत आजमाएंगी. इससे पहले 2014 में 277 महिलाएं चुनाव मैदान में थीं. 2019 की विधानसभा तक 3 हजार 744 विधायक प्रदेश में जीतकर आए थे. इनमें से 160 महिलाओं को प्रतिनिधित्व मिला. पुरुषों की तुलना में यह अनुपात सिर्फ 4.27 फीसदी है. इस साल जब महिला वोटरों की संख्या बढ़ी है तो यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या महिला विधायक बनने का रिकॉर्ड टूट पाएगा?

महाराष्ट्र फुले-शाहू-आंबेडकर का राज्य है. 2019 में 3 हजार 237 उम्मीदवारों ने चुनाव लड़ा था. इनमें से 235 महिला उम्मीदवार थीं. उसमें से 24 महिलाओं ने जीत हासिल की. चुनाव में 50 फीसदी महिलाएं वोट करती हैं, जो इसकी तुलना में नगण्य है. पीआरएस लेजिस्लेटिव रिसर्च की एक स्टडी के मुताबिक, वर्तमान में लोकसभा में 15 फीसदी और राज्यसभा में 13 फीसदी सांसद महिलाएं हैं. 1972 में विधानसभा चुनाव में 51 महिलाएं मैदान में थीं.

चुनी गईं सबसे ज्यादा महिलाएं

2019 के चुनाव में सबसे ज्यादा 24 महिलाएं चुनी गईं. महाराष्ट्र में अब तक किसी महिला को मुख्यमंत्री, उपमुख्यमंत्री का पद नहीं मिला है. 1962 से 1919 तक 1 हजार 685 महिलाओं ने अपनी किस्मत आजमाई लेकिन केवल 165 महिलाएं ही विजेता रहीं. 1972 में महाराष्ट्र विधानसभा में कोई महिला नहीं थी.

विदर्भ में 4 महिलाओं की जीत 

 

विदर्भ के मामले में, 2019 में 95 महिला उम्मीदवार मैदान में थीं. इनमें से केवल चार महिला उम्मीदवार श्वेता महाले (चिखली), प्रतिभा धानोरकर (वरोरा), यशोमति ठाकुर (तिवसा) और सुलभा खोडके (अमरावती) ने जीत हासिल की. क्या इस साल बढ़ेगी विदर्भ और महाराष्ट्र की संख्या? इसका पता 23 नवंबर को आने वाले नतीजों के बाद चलेगा.

Continue Reading

Featured

सारडा, चौधरी और पटेल को एनसीसीएल अवार्ड

Published

on

By

नागपूर चेंबर ऑफ कामर्स का दिपावली मिलन सपन्न

Web Desk, maharashtrakhabar24.com, नागपुर.

नागपुर चेंबर ऑफ कॉमर्स व्यपारियों की 92 वर्ष पूरानी संस्था का दिपावली मिलन व अवॉर्ड कार्यक्रम संपन्न हुआ। कार्यक्रम की अध्यक्षता चेंबर के अध्यक्ष सीए कैलास जोगानी ने की। मुख्य अतिथी प्रिंसिपल चीफ कमिश्नर इन्कम टॅक्स श्रीमती परमिंदर, आई. आर.एस. श्री अनिल कुमार, राष्ट्रीय स्वयंसेवक महानगर संघ संचालक सीए राजेश लोया थे।इस वर्ष उद्योग क्षेत्र से अवॉर्ड श्री रामस्वरूप सारडा – चेअरमेन रामसन्स इंडस्ट्रीज लि. को दिया । उन्होने अपने संबोधन मे कैसे एक ट्रेडर से इस्पात उद्योग तक सफर तय किया ये बताया। उन्होने परिवार तथा मुख्यतः अपनी धर्मपत्नी के योगदान का भी जिक्र किया।व्यापार क्षेत्र से किशोर व्दारकादास चौधरी डायरेक्टर चौधरी लाइफस्टाईल प्रायवेट ली. को दिया गया। उन्होने अपने संबोधन में बताया कि वे कैसे एक छोटीसी कटपीस सेंटर से आज पांच बडे शोरूम स्थापित किए। उन्होने ग्राहक की संतुष्टी पर विशेष ध्यान दिया तथा उपने सक्सेस स्टोरी मे पिता, परिवार धर्मपत्नी व पुत्रो का पूर्ण सहयोग की बात कही।सेवा क्षेत्र से सुरेश भाई लालजीभाई पटेल, सुपर कंस्ट्रक्शन को दिया गया। इन्होने सुरेश भट सभागृह नागपुर, पोहरा देवी म्यूजियम, वाशीम, स्पोर्स्ट कॉम्लेक्स आदि बनाए। अध्यक्ष कैलास जोगानी ने सभी को दिपावली की शुभकामनाएं देते हुए कुछ व्यापारीक समस्याओं का जिक्र करते हुए सभी व्यापारीयों को आगे आने वाले विधानसभा चुनाव में शत-प्रतिशत वोट देने तथा कर्मचरियों को भी वोटिंग के लिए छूट्टी देकर देखे की हर कर्मचारी अपने वोट का उपयोग करे । उन्होने सरकार व्दारा वोटो के वास्ते नगद भुगतान स्किमस् पर अर्थ व्यवस्था को होने वाले नुकसान पर आम जनता को आग्रह किया तथा नगद भुगतान स्किम्स के लोभ मे वोट न देकर, उपयुक्त सही उम्मीदवार चुनने को आग्रह किया।

आनंद निर्बाण को लाईफटाईम अचिवमेंट अवॉर्ड

इस अवसर पर वरिष्ठ पत्रकार श्री आनंद निर्बाण जी को लाईफटाईम अचिवमेंट अवॉर्ड से सम्मानित किया गया। उनके पत्रकारीता मे 50 वर्ष पूर्ण हो गये। उनका का परिचय सचिव विजय जायस्वाल ने दिया। श्री आनंदजी निर्बाण को शाल-श्रीफल से सम्मनीत किया गया।

मुख्य अतिथीयो व्दारा एनसीसीएल अवॉर्ड देकर सत्कारमूर्तियों का सत्कार किया गया। मुख्य आयकर आयुक्त श्रीमती परमिंदर तथा आय. आर. एस. श्री अनिल कुमार ने बताया कि आयकर विभाग करदाताओं के लिए फ्रेंडली हो गया है तथा व्यापारीयों को भारी डायरेक्ट कर संग्रह के लिए धन्यवाद दिया । श्रीमती परमिंदर ने कहा कोई भी करदाता उन्हे मिल सकता है।सीए राजेश लोया ने भी व्यापारीयों को दिपावली की बधाई देते हुए राष्ट्र प्रेरित विभिन्न मुद्दो पर विस्तार से संबोधित किया। उन्होने विभिन्न संस्थाओ से आए अध्यक्ष व प्रतिनिधियों का पुष्पगुच्छ से स्वागत किया।नागपुर चेंबर ऑफ कॉमर्स के सचिव विजय जायस्वाल ने धन्यवाद दिया। मंच संचालन आयपीपी गोविंद पसारी, ने किया। कार्यक्रम का सुत्र संचालन नेहा जायस्वाल ने किया। कार्यक्रम मे अशोक गोयल, जे.पी. शर्मा, धर्मपाल अग्रवाल, दिपेन अग्रवाल, जयप्रकाश गुप्ता, अश्विन मेहाडिया, गिरधारी मंत्री, धिरज अगासे, केतन सुचक, बलबिरसिंग रेणु, राजेश चांडक, डॉ. कविता चांडक, गौरव जेजानी, रिषभ जेजानी, एन.सी.सी.एल के उपाध्यक्ष प्रदिप जाजू, उपाध्यक्ष तरूण निर्बाण, कोषाध्यक्ष नाथाभाई पटेल, सहसचिव लक्ष्मिकांत अग्रवाल, संयोजक वेणुगोपाल अग्रवाल,  शंकरलाल खंडेलवाल, देवकीनंदन खंडेलवाल, वसंतकुमार पालीवाल, गिरीष लिलाडीया, संजय पांडे, निखील काकाणी, सुनिल जेजानी, प्रशांत जग्यासी, विनोद पवार, विवेक उखलकर, विजय सराफ, रिषी ए. गोयल, दिनेश सारडा, हरेश सोनी पूर्व अध्यक्ष श्री संतोषकुमार अग्रवाल, श्री महेन्द्र कटारीया, श्री भागीरथ मुरारका, श्री कमलेश शाह उपस्थित थे।नागपूर के सभी व्यापारिक व उद्योग संस्थाओं के बडी मात्रा मे प्रतिनिधियों के साथ ही भारी मात्रा में व्यापारी परिवार सहित गणमान्य उपस्थित थे।

Continue Reading

Trending